हिमाचल प्रदेश के उपमुख्यमंत्री द्वारा बीते दिन सोशल मीडिया पर की गई टिप्पणी को लेकर प्रदेश में सियासी माहौल गरमा गया है. वहीं इसको लेकर अब भाजपा भी सरकार पर निशाना साध रही है. पूर्व विधायक राजेंद्र राणा ने मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री के बीच बातचीत न होने पर सवाल खड़े किए हैं.
राजेंद्र राणा ने कहा कि मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री बीच में क्या चल रहा है? जनता जाना चाहती है कि आखिर चार महीने से मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री में बातचीत क्यो नहीं है और क्या वजह है कि डिप्टी सीएम 4 महीने से अपने कार्यालय में नहीं बैठ रहे हैं. यहीं नहीं हरोली उत्सव में भी मुख्यमंत्री नहीं गए. जिससे साफ जाहिर होता है कि मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री के बीच कुछ ठीक नहीं चल रहा है.
उन्होंने आगे कहा उपमुख्यमंत्री नाराज चल रहे हैं और इसकी वजह मुख्यमंत्री द्वारा उपमुख्यमंत्री को दरकिनार करना है. मुख्यमंत्री द्वारा एचआरटीसी केवाईसी अध्यक्ष की नियुक्ति की गई और नियुक्ति सीधे मुख्यमंत्री द्वारा की गई जबकि उपमुख्यमंत्री को इसके बारे में पूछा भी नहीं गया. यही नहीं शिमला में लगने वाले रोप-वे को लेकर भी उन पर दवा बनाया जा रहा है. कुछ दिन पहले मुख्यमंत्री ने रोप-वे की फाइल्स लेकर एक मंत्री को निजी हेलीकॉप्टर द्वारा हरोली भेजा गया और दिल्ली से दवाब बनाया जा रहा है कि यह टेंडर एक व्यक्ति को दिया जाए.
डिप्टी सीएम इसको लेकर भी परेशान है कि जब आप गलत काम करेंगे आने वाले समय में परते खुल सकती है. यही नहीं बल्क ड्रग पार्क में भी अपने चहेतों को टेंडर दिए जा रहे हैं और मंत्री को पूछा भी नहीं जा रहा है. उनके विभागों में अधिकारियों की ट्रांसफर भी मुख्यमंत्री बिना पूछे कर रहे हैं जिसे सब जाहिर होता है कि सरकार में सब सही नहीं चल रहा है और यह कभी भी ब्लास्ट हो सकता है. मुख्यमंत्री द्वारा मंत्रियों और डिप्टी सीएम को जलील किया जा रहा है जिससे ये लोग परेशान है.


