दिल्ली-एनसीआर में वायु प्रदूषण के खतरनाक स्तर पर पहुंचने के बाद ग्रैप-3 (GRAP-III) लागू कर दिया गया है। शनिवार को राजधानी के कई इलाकों में एयर क्वालिटी इंडेक्स 400 के पार दर्ज किया गया, जिससे पूरा क्षेत्र स्मॉग की मोटी परत में ढक गया। कम हवा की रफ्तार, स्थिर वायुमंडलीय हालात और प्रतिकूल मौसम को प्रदूषण बढ़ने की मुख्य वजह माना जा रहा है। हालात ऐसे हो गए हैं कि लोगों को सांस लेने में परेशानी और आंखों में जलन की शिकायतें बढ़ने लगी हैं।
आंकड़ों के अनुसार, शुक्रवार शाम 4 बजे AQI 349 था, जो रातभर तेजी से बढ़ते हुए शनिवार सुबह 10 बजे 401 तक पहुंच गया और ‘गंभीर’ श्रेणी में आ गया। स्थिति को और बिगड़ने से रोकने के लिए CAQM की उप-समिति ने पूरे दिल्ली-एनसीआर में GRAP-3 के सभी प्रतिबंध तत्काल प्रभाव से लागू कर दिए हैं। GRAP-3 के तहत डीजल बसों पर रोक, कक्षा 5 तक के स्कूलों को ऑनलाइन मोड में चलाने की अनुमति, स्टोन क्रशर और खनन गतिविधियों पर प्रतिबंध, गैर-जरूरी निर्माण कार्य बंद करने और वर्क फ्रॉम होम को बढ़ावा देने जैसे कदम शामिल हैं।
डॉक्टरों ने चेतावनी दी है कि लंबे समय तक ऐसा प्रदूषण रहने से दमा, फेफड़ों और दिल से जुड़ी बीमारियों का खतरा बढ़ सकता है। लोगों को सलाह दी गई है कि बाहर निकलते समय मास्क पहनें और सुबह-शाम खुली हवा में जाने से बचें। आने वाले दिनों में भी हवा की गुणवत्ता में खास सुधार की उम्मीद नहीं जताई जा रही है।


