भोपाल। मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में सोमवार से दो दिवसीय ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट (GIS-2025) का आगाज हो गया। इस महत्वपूर्ण आयोजन का उद्घाटन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने किया, जिसमें देश-विदेश के कई बड़े उद्योगपति और निवेशक शामिल हुए। इस समिट में अदाणी समूह के चेयरमैन गौतम अदाणी भी भाग ले रहे हैं।
गौतम अदाणी का गर्मजोशी से स्वागत
राज्य के मुख्यमंत्री मोहन यादव ने गौतम अदाणी के भोपाल आगमन पर उनका स्वागत किया और कहा कि उनके विचार और दृष्टिकोण से राज्य में रोजगार के नए अवसर सृजित होंगे और आर्थिक प्रगति को नई दिशा मिलेगी। उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘X’ पर पोस्ट कर लिखा,
“प्रसिद्ध उद्योगपति गौतम अदाणी का भोपाल में आयोजित ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट में स्वागत है। आपके आगमन से मध्य प्रदेश में निश्चित ही निवेश और विकास के नए द्वार खुलेंगे। साथ ही, आपके विचार और दृष्टिकोण से युवाओं के लिए रोजगार के अवसर और राज्य की प्रगति को नई दिशा भी मिलेगी।”
समिट में बड़े निवेशकों की भागीदारी
दो दिवसीय इस समिट का समापन देश के गृह मंत्री अमित शाह करेंगे। इस आयोजन के लिए अब तक 25,000 से अधिक निवेशकों ने पंजीकरण कराया है, जिनमें 50 से अधिक देशों के 100 से ज्यादा विदेशी प्रतिनिधि शामिल हैं। इनमें विभिन्न देशों के राजदूत, उच्चायुक्त और महावाणिज्य दूत भी मौजूद रहेंगे।
मध्य प्रदेश सरकार के अनुसार, इस समिट के जरिए कृषि, खाद्य प्रसंस्करण, कपड़ा और वस्त्र, खनन, सूचना प्रौद्योगिकी, नवीकरणीय ऊर्जा, शहरी विकास, पर्यटन और खाद्य उद्योग जैसे प्रमुख क्षेत्रों में निवेशकों को आकर्षित किया जाएगा।
औद्योगिक विकास को मिलेगा बढ़ावा
राज्य सरकार मेक इन इंडिया, स्टार्ट-अप इंडिया, डिजिटल इंडिया और आत्मनिर्भर भारत जैसी योजनाओं को मजबूत करने के लिए ठोस रणनीति अपना रही है। GIS-2025 इन पहलों को लागू करने के लिए एक महत्वपूर्ण मंच साबित हो रहा है।
औद्योगिक विकास के लिए प्रमुख क्षेत्र:
- मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर: पीथमपुर (इंदौर), मंडीदीप (भोपाल), मालनपुर (ग्वालियर), मेघनगर (झाबुआ) जैसे औद्योगिक हब विकसित किए जा रहे हैं।
- स्टार्ट-अप और आईटी हब: इंदौर और भोपाल में नए आईटी एवं स्टार्ट-अप हब स्थापित किए जा रहे हैं, जिससे नवाचार और तकनीक आधारित उद्यमिता को बढ़ावा मिलेगा।
ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट के जरिए मध्य प्रदेश सरकार का लक्ष्य राज्य में बड़े पैमाने पर निवेश आकर्षित कर औद्योगिक और आर्थिक विकास को नई ऊंचाइयों तक पहुंचाना है।