600 नौकरियों के लिए 25 हजार की भीड़, एयर इंडिया के लिए काबू करना हुआ मुश्किल

नई दिल्ली:

एयर इंडिया लोडर की नौकरी के लिए कई पदों में भर्ती निकाली थी. इन भर्तियों के लिए हजारों लोग पहुंच गए, जिसके बाद भगदड़ की स्थिति बन गई. दरअसल कल मुंबई एयरपोर्ट पर एयर इंडिया में भर्ती अभियान के दौरान तब भगदड़ जैसी स्थिति पैदा हो गई. जब 600 पदों के लिए 25,000 से अधिक आवेदक पहुंच गए. नतीजतन इतनी भारी-भरकम भीड़ को संभालने के लिए एयर इंडिया के कर्मचारियों को काफी मशक्कत करनी पड़ी. आलम ये रहा कि फॉर्म काउंटर तक पहुंचने के लिए आवेदक को एक-दूसरे से धक्का-मुक्की करते नजर आए. रिपोर्ट्स के अनुसार आवेदकों को बिना भोजन और पानी के घंटों इंतजार करना पड़ा और उनमें से कई की तबीयत खराब होने लगी.

एयरपोर्ट लोडर की सैलरी कितनी

एयरपोर्ट के लोडरों को विमान पर सामान चढ़ाने और उतारने तथा बैगेज बेल्ट और रैंप ट्रैक्टर चलाने का काम सौंपा जाता है. प्रत्येक विमान को सामान, कार्गो और खाद्य आपूर्ति को संभालने के लिए कम से कम पांच लोडरों की आवश्यकता होती है.  एयरपोर्ट लोडर की सैलरी ₹20,000 से ₹25,000 प्रति माह के बीच होता है, लेकिन ज़्यादातर लोडर ओवरटाइम भत्ते के बाद ₹30,000 से ज़्यादा कमा लेते हैं. एयरलाइन द्वारा लोडर को खान पान की भी सुविधा दी जाती है. लोडर की नौकरी मिलने के लिए किसी भी डिग्री की जरूरत नहीं होती. महज शारीरिक और मानसिक रूप से व्यक्ति स्वस्थ होना चाहिए. यदि प्रतिदिन 100 विमान भी उड़ान भरती है तो, 500 से 600 लोडर की जरूरत होती है. 

बीबीए, एमकॉम के छात्र भी इंटरव्यू के लिए पहुंचे

प्रथमेश्वर भी लोडर की नौकरी के इंटरव्यू के लिए पहुंचे थे, जो कि बीबीए द्वितीय वर्ष के स्टूडेंट है. जब उससे पूछा गया कि अगर उसे नौकरी मिल गई तो क्या वह अपनी पढ़ाई छोड़ देगा, तो उसने जवाब दिया, “हम क्या करें? इतनी बेरोजगारी है, मैं सरकार से और अधिक रोजगार के अवसर पैदा करने का आग्रह करता हूं.” वहीं बीए की डिग्री रखने वाले एक अन्य उम्मीदवार ने कहा कि उसे अप्रेंटिस के काम के बारे में ज्यादा जानकारी नहीं है, लेकिन वह कहता है कि उसे “नौकरी की जरूरत है.” एक अन्य उम्मीदवार राजस्थान के अलवर से मुंबई पहुंचे. उसके पास एमकॉम की डिग्री है, लेकिन उसने ऐसी नौकरी के लिए आवेदन किया है जिसके लिए महज बुनियादी शिक्षा की आवश्यकता है. “मैं सरकारी नौकरी की परीक्षाओं की तैयारी भी कर रहा हूं, किसी ने मुझे बताया कि यहां वेतन अच्छा है, इसलिए मैं आया हूं.”